एम.ए.डी.-01

‘पृथ्वीराज रासो’ की प्रामाणिकता–अप्रामाणिकता से जुड़े विभिन्न मुद्दों का विश्लेषण कीजिए।

प्रस्तावना ‘पृथ्वीराज रासो’ हिंदी साहित्य का एक महत्वपूर्ण ग्रंथ है, जिसे चंद बरदाई ने रचा। यह ग्रंथ पृथ्वीराज चौहान के जीवन, पराक्रम और संघर्षों को छंदबद्ध रूप में प्रस्तुत करता है। हालांकि, इसकी ऐतिहासिक प्रामाणिकता को लेकर विद्वानों के बीच मतभेद हैं। कुछ इसे इतिहास का स्त्रोत मानते हैं तो कुछ इसे काव्य कल्पना का […]

‘पृथ्वीराज रासो’ की प्रामाणिकता–अप्रामाणिकता से जुड़े विभिन्न मुद्दों का विश्लेषण कीजिए। Read More »

चंद को छंद का राजा क्यों कहा जाता है?

प्रस्तावना हिंदी साहित्य के इतिहास में ‘चंद’ का विशेष स्थान है। चंद, विशेष रूप से चंद बरदाई, को ‘छंद का राजा’ कहा जाता है क्योंकि उन्होंने छंदों का न केवल अद्भुत प्रयोग किया, बल्कि छंदों की विविधता, लयात्मकता और कलात्मक सौंदर्य को चरम स्तर पर पहुँचाया। उनकी रचनाओं में छंदों की स्पष्ट संरचना, भावों की

चंद को छंद का राजा क्यों कहा जाता है? Read More »

Disabled !